मुंबई: वैसे तो बुर्जुगो का बयान सम्मान जनक होता है। परन्तु NCP प्रमुख शरद पावर जैसे अनुभवी बुर्जुगो का “विदर्भ मुस्लिम बौद्धिक मंच” द्वारा आयोजित प्रोग्राम में ये विवादित बयान देना कि बॉलीवुड में सबसे बड़ा योगदान मुस्लिम समुदाय ने दिया है. ये बोल कर उन्होंने अज्ञानता एंव दुर्भाग्यपूर्णता का परिचय दिया है। इसी तरह एक बार मनमोहन सिंह जी भी देश के संसाधनों पर प्रथम अधिकार मुस्लिम का होना बताकर अज्ञानता का परिचय दिया था।
पता नही आजकल हमारे देश के बुर्जुगो नेताओ का नैतिकता क्यों रखत्म हो गया है । जबकि सच्चाई यह कि देश की हर संसाधान में योगदान एवं अधिकार सभी का बराबर होता है।
पवार जी- क्या आप अपने परिवार योगदान मे सभी सदस्यों का अधिकार में अंतर बता सकते है। पवार जी को बॉलीवुड पर बोलने से पहले यह समझ लेना चाहिए कि बॉलीवुड के जन्मदाता दादा साहब फालके जी थे । जो कभी ऐसा भेदभाव पुर्ण बयान नही दिया।
यदि बॉलीवुड में अहम योगदान मुस्लिम कलाकारो का ही है तो फिर अमिताभ बच्चन, जीतेन्द्र धर्मेन्द्र , राजेश खन्ना सुनील दत्त आदि जैसे कलाकारों की भूमिका भी पवार जी को बताना चाहिए था।
वोट बैंक इंसान को कितना नीचा ला खड़ा कर देता है वो पवार जी खुद देश को बता दिया है । अब हम वोटर को समझना होगा कि जो इंसान अपने हित के लिए एक दूसरे को विभाजन कर दे । उसे राजनितिक टुकड़े इतना कर दे कि उसे खंङे होने के लिए भी जगह नहीं मिले।
